Heavy fines will be imposed for stubble burning in UP, Yogi instructs officials: यूपी में पराली जलाने पर वसूला जाएगा बड़ा जुर्माना, योगी ने अधिकारियों को दिया निर्देश
Heavy fines will be imposed for stubble burning in UP, Yogi instructs officials: यूपी में पराली जलाने पर वसूला जाएगा बड़ा जुर्माना, योगी ने अधिकारियों को दिया निर्देश

stubble burning in UP:
यूपी में पराली जलाने पर रोक लगाने के लिए सीएम योगी आदित्यनाथ ने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा है कि अगर कोई व्यक्ति पराली जलाते हुए पकड़ा जा रहा है तो उनसे जुर्माना वसूला जाए। जांच के लिए 50 से 100 किसानों पर एक नोडल अधिकारी की नियुक्ति की जाए। दरअसल, पराली जलाने से पर्यावरण प्रदूषण बढ़ता है और जनस्वास्थ्य पर भी गंभीर प्रभाव पड़ता है। इसलिए किसानों को फसल अवशेष प्रबंधन के वैकल्पिक उपायों के प्रति जागरूक किया जाए। बता दें कि यूपी में 2500 से लेकर 15000 तक जुर्माना वसूला जाता है।
stubble burning in UP:
योगी ने जिलाधिकारियों से कहा कि वे सेटेलाइट के जरिए से पराली जलाने की घटनाओं की लगातार नजर रखें। दो एकड़ से कम क्षेत्र पर 2500 रुपये, दो से पांच एकड़ तक 5000 रुपये और पांच एकड़ से अधिक पर 1500 रुपये जुर्माना वसूला जाए। प्रत्येक 50 से 100 किसानों पर एक नोडल अधिकारी नियुक्त किए जाएं। जनप्रतिनिधियों से भी इस अभियान में सहयोग की अपील की गई है। संयुक्त प्रयासों से ही स्वच्छ पर्यावरण और प्रदूषण मुक्त प्रदेश का लक्ष्य प्राप्त किया जा सकता है।

stubble burning in UP:
जिलाधिकारियों से कहा गया है कि हॉटस्पाट चिह्नित करते हुए 50 से 100 किसानों पर एक नोडल अधिकारी नियुक्ति करें। नोडल अधिकारी को पराली जलाने की घटनाओं को शून्य करने के लिए विशेष हिदायत दी जाए। इसके साथ ही, राजस्व, पुलिस, कृषि, ग्राम्य विकास एवं पंचायती राज विभागों के जनपद, तहसील, विकासखंड व क्षेत्रीय कर्मियों के माध्यमसे फसल कटने के समय निगरानी करते हुए, फसल अवषेश जलाने की घटनाओं को शून्य करना है। यदि कोई कृषक फसल अवषेश जलाता हुआ पाया जाता है तो मौके पर उसको रोकना तथा उस पर पर्यावरणीय क्षतिपूर्ति की धनराषि अधिरोपित करते हुए कार्रवाई की जाए।
पराली जलाने से पर्यावरण पदूषण में होती ही वृद्धि:: stubble burning in UP
मुख्यमंत्री ने कहा कि पराली जलाने से पर्यावरण प्रदूषण बढ़ता है और जनस्वास्थ्य पर भी गंभीर प्रभाव पड़ता है। इसलिए किसानों को फसल अवशेष प्रबंधन के वैकल्पिक उपायों के प्रति जागरूक किया जाए। सभी जिलाधिकारियों से अपेक्षा की गई है वो सेटेलाइट के माध्यम से पराली जलाने की घटनाओं की लगातार निगरानी करें और संवेदनशील जिलों में विशेष सतर्कता बरती जाए।
★⁂⁙Y𝘰ᶹтᶹß𝒆⁙⁂★: LINK
★⁂⁙𝐖ℎ𝒂𐍄ꜱꭺᴩᴩ⁙⁂★: LINK
















