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शिक्षको के लिए विकल्प पत्र व डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी क्या है : बेसिक शिक्षकों हेतु डेथ ग्रेच्युटी ,मृत्यु-सह-सेवानिवृत्ति उपदान (Death-cum-Ritirement Gratuity)

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सेवा निवृत्तिक लाभों में परिवर्तन हेतु विकल्प की सुविधा ||डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी ||डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी लाभ||डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी उम्र ||सेवानिवॄत्त या सेवा काल मे मृत राज्य कर्मचारियों ||रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी  का विकल्प||Gratuity नियम में हुआ बड़ा||ग्रेच्युटी अपडेट||विकल्प भरने में देर हो जाने पर भी ग्रेच्युटी मिलेगी|बेसिक शिक्षकों हेतु डेथ ग्रेच्युटी /सेवानिवृतिकी सुविधा एवम एनपीएस से आच्छादित शिक्षकों के असामयिक मृत्यु पर पारिवारिक पेंशन का प्रावधान।

डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी  क्या है

1. सेवा काल मे किसी अनहोनी की स्थिति में बेसिक शिक्षक अपने परिवार की आर्थिक सुरक्षा हेतु  समय रहते डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी  का विकल्प जरूर भरें।

2. सेवानिवॄत्त या सेवा काल मे मृत राज्य कर्मचारियों के परिजनों को ग्रेच्युटी के लाखों रुपये स्वतः मिलते हैं। ये लाभ इसलिये मिलता क्योकि कर्मचारी 60 में रिटायर होते हैं, जबकि शिक्षक के 62 में रिटायर होने के कारण नहीं मिलता है।

 

डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी लाभ

  • यदि शिक्षक भी शासनादेशों के अनुसार 60 वर्ष में सेवानिवृति का विकल्प ले लें तो उन्हें भी यह लाभ समान रूप से प्राप्त है।
  • अधिक जागरूक होने के कारण इंटर कालेजों, डिग्री कालेजों, मेडिकल कालेज व यूनिवर्सिटियों के शिक्षकों को ये सुविधा बहुत पहले से प्राप्त है। लिहाजा वे 60 वर्ष में ही सेवानिवृति का विकल्प देकर सेवानिवृत या असामयिक मृत्यु की दशा में ग्रेच्यूटी के लाखों रुपये पाते है।
  • जबकि बेसिक शिक्षक जानकारी के अभाव में या कतिपय कारणों से ये विकल्प नही लेते हैं और कभी कभी 60 वर्ष की उम्र से पहले ही सेवाकाल में मृत्यु हो जाने की दशा में डेथ ग्रेच्यूटी से वंचित हो जाते हैं या उनके परिजन कोर्ट कचहरी का चक्कर लगाते हैं।
  • हर साल हर जिले में अनेक बेसिक शिक्षक बीमारी या दुर्घटना से मर रहे हैं। यदि इस विकल्प का फायदा लिया गया होता तो फेमिली को ग्रेच्यूटी के रूप में अधिकतम 20 लाख रुपये की मदद मिलती।
  •  हम बेसिक शिक्षकों को शासन से डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी जैसी शिक्षक हितकारी व्यवस्था 1994 से ही प्राप्त है, लेकिन जागरूकता और जानकारी के अभाव हर साल सेवाकाल में मृत होने वाले शिक्षकों के परिजन ये लाभ नहीं पा सके, जबकि इसी शासनादेश 1994 के आधार पर  बेसिक शिक्षा विभाग के सभी शिक्षणेत्तर कार्मिकों को इसका लाभ मिलता है।

डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी उम्र

  • उ०प्र० बेसिक शिक्षा शिक्षा परिषदीय शिक्षकों/शिक्षणेत्तर कर्मचारियों द्वारा सेवानिवृत्ति के एक वर्षपूर्व अर्थात जिस शैक्षिक सत्र में उनकी सेवानिवृत्ति होगी, उसकी पहली जुलाई तक विकल्प परिवर्तनकर सकते हैं। किन्तु ऐसे कर्मचारी जो 58 वर्ष की आयु पर सेवानिवृत्ति का विकल्प देते हैं, को सेवानिवृत्ति के पूर्व तक विकल्प परिवर्तन की सुविधा अनुमन्य होंगी। यह व्यवस्था इस शासनादेश के जारी
    होने की तिथि से लागू होगी।
  • उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद के शिक्षकों/शिक्षणेत्तर कर्मचारियों तथा सहायता प्राप्त गैर सरकारी जूनियर हाई स्कूलों के शिक्षक एवं शिक्षणेत्तर कर्मचारियों को 58 वर्ष की आयु पर सेवा निवृत्त किये जाने पर ग्रेच्युटी की सुविधा अनुमन्य किया जाना।
  • बेसिक शिक्षा परिषद् के अध्यापकों एवं शिक्षणेत्तर कर्मचारियों तथा सहायता प्राप्त गैर सरकारी जूनियर हाई स्कूलों के शिक्षकों एवं शिक्षणेत्तर कर्मचारियों को माध्यमिक शिक्षकों की भाँति 58 वर्ष की आयु पर सेवा निवृत्त होने का विकल्प देने की स्थिति में ग्रेच्युटी की सुविधा दिये जाने की मांग की है।
  • सम्यक विचारोपरान्त श्री राज्यपाल यह आदेश प्रदान करते हैं कि जिस प्रकार राज्य सहायता प्राप्त माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षकों को 58 वर्ष की आयु पर सेवानिवृत्त होने का विकल्प देने पर राजकीय कर्मचारियों की भाँति ग्रेच्युटी की सुविधा अनुमन्य है, उसी प्रकार उ०प्र० बेसिक शिक्षा परिषद् के अध्यापकों एवं शिक्षणेत्तर कर्मचारियों, सहायता प्राप्त गैर सरकारी माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षणेत्तर कर्मचारियों की 58 वर्ष की आयु में सेवानिवृत्त होने की दशा में ग्रेच्युटी की सुविधा प्रदान की जाये।
  • यह सुविधा उन्हीं अध्यापकों एवं कर्मचारियों को अनुमन्य होगी जो 58 वर्ष की आयु पर सेवानिवृत्त होने का विकल्प निर्धारित प्रपत्र पर प्रस्तुत होने एवं यह सुविधा उपरोक्त वर्णित सभी शिक्षकों / कर्मचारियों पर इन आदेशों के जारी होने की तिथि से लागू होगी।
  • अतः श्री राज्यपाल महोदय तात्कालिक प्रभाव से परिषदीय प्राथमिक विद्यालय, परिषदीय उच्च प्राथमिक विद्यालय तथा सहायता प्राप्त उच्च प्राथमिक विद्यालयों में शासन द्वारा सृजित पदों पर नियमानुसार कार्यरत अध्यापकों की वर्तमान अधिवर्षता आयु को 60 वर्ष से बढ़ाकर 62 वर्ष किये जाने की सहर्ष स्वीकृति प्रदान करते हैं। फलस्वरूप 58 वर्ष की अधिवर्षता आयु पर मिलने वाले सेवा नैवृत्तिक लाभ अब 60 वर्ष की अधिवर्षता आयु पर तथा 60 वर्ष की अधिवर्षता आयु पर मिलने वाले सेवा नैवृत्तिक लाभ 62 वर्ष की अधिवर्षता आयु पर अनुमन्य होंगे।

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डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी भरने का प्रोसेस

  • मुझे यह भी कहना है कि प्रश्नगत लाभ उन्हीं अध्यापकों / कर्मचारियों को अनुमन्य होगा जो संलग्न निर्धारित प्रपत्र पर शासनादेश जारी होने के दिनांक से 90 दिन के अन्दर दो प्रतियों में संस्था के माध्यम से पेंशन स्वीकृत करने वाले अधिकारी के पास अपना विकल्प पत्र प्रेषित करेंगे। निर्धारित तिथि तक विकल्प पत्र न प्रस्तुत किये जाने पर यह स्वतः मान लिया जायेगा कि सम्बन्धित अध्यापक या कर्मचारी इस राजाज्ञा में स्वीकृत सुविधा का लाभ प्राप्त नहीं करना चाहता। एक बार प्रस्तुत क गया विकल्प अन्तिम तथा अपरिवर्तनीय होगा।
  •  बेसिक शिक्षा परिषदीय शिक्षक/ शिक्षणेत्तर कर्मचारियों, सहायता प्राप्त गैर सरकारी जूनियर हाई स्कूलों के शिक्षक/शिक्षणेत्तर कर्मचारियों तथा सहायता प्राप्त गैर सरकारी उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों के शिक्षणेत्तर कर्मचारियों के विकल्प की पहली प्रति पेंशन स्वीकृत अधिकारी के प्रति हस्ताक्षर के बाद उसकी सेवा पुस्तिका में चिपकायी जायेगी। दूसरी प्रति पेंशन स्वीकृत अधिकारी के प्रति हस्ताक्षर के बाद उससे अगले उच्च अधिकारी के कार्यालय में सुरक्षित रखी जायेगी था।

डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी

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FAQs

प्र.डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी  क्या है

उत्तर-कर्मचारी 60 में रिटायर होते हैं, जबकि शिक्षक के 62 में रिटायर होने के कारण नहीं मिलता है।

प्र. डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी लाभ कब मिलता है

उत्तर- कभी कभी 60 वर्ष की उम्र से पहले ही सेवाकाल में मृत्यु हो जाने की दशा में

 प्र. डेथ कम रिटायरमेन्ट ग्रेच्यूटी उम्र

उत्तर- 60 साल की उम्र में, मतलब 62 की रिटायरमेंट की जगह जब हम 60 साल रिटायरमेंट विकल्प  देंगे तब ये लाभ मिलता है क्यूकि शिक्षको कि रिटायरमेंट उम्र 62 होती है

 

 

 

 

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